“चारों जुग परताप तुम्हारा”..हनुमान जी के भक्त हैं तो मालूम होगा इसका अर्थ?

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Ayodhya News: शशिकांत दास बताते हैं कि इस चौपाई के जाप करने से व्यक्ति को हनुमान जी की शक्ति, भक्ति तथा उनके प्रताप का पता चलता है. इसका अनुसरण करने से व्यक्ति को जीवन में चल रही तमाम तरह की परेशानियों से मुक्त…और पढ़ें
हाइलाइट्स
- हनुमान जी महाराज का प्रताप पराक्रम चारों युगों में फैला है.
- प्रभु श्रीराम की कृपा से पहले हनुमान जी की कृपा है जरूरी.
- हनुमान चालीसा का पाठ करने से रोग, दुख से मुक्ति मिलती है.
इसके साथ ही अगर आप प्रतिदिन हनुमान चालीसा का पाठ करते हैं और उसकी चौपाई का अर्थ समझते हैं, तो ऐसा करने से जीवन में चल रही तमाम तरह की परेशानियों से मुक्ति मिलेगी और हनुमान जी महाराज का आशीर्वाद प्राप्त होगा. तो चलिए ऐसे ही एक चौपाई हनुमान चालीसा के बारे में विस्तार से बताते हैं जिसका अनुसरण करने से हनुमान जी की विशेष कृपा प्राप्त होती है..
दरअसल, हनुमान चालीसा में गोस्वामी तुलसीदास ने कई ऐसी चमत्कारी चौपाई का उल्लेख किया है, जिसका अनुसरण करने से व्यक्ति को सभी मनोरथ की सिद्धि प्राप्त होती है. हनुमान चालीसा में गोस्वामी तुलसीदास लिखते हैं “चारों जुग परताप तुम्हारा, है परसिद्ध जगत उजियारा।।” इस चौपाई के बारे में विस्तार से शशिकांत दास बताते हैं कि चारों जुग परताप तुम्हारा..अर्थात हनुमान जी महाराज का प्रताप पराक्रम चारों युग सतयुग, त्रेता युग ,द्वापर युग ,और कलयुग में व्याप्त है.
शशिकांत दास बताते हैं कि इस चौपाई के जाप करने से व्यक्ति को हनुमान जी की शक्ति, भक्ति और उनके प्रताप का पता चलता है. इसका अनुसरण करने से व्यक्ति को जीवन में चल रही तमाम तरह की परेशानियों से मुक्ति मिलती और हर कष्ट भी दूर होता है.