धान की पैदावार बढ़ाने के लिए खेत में तैयार करें ये हरी खाद, होगी बंपर पैदावार

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धान की पैदावार बढ़ाने के लिए खेत में तैयार करें ये हरी खाद, होगी बंपर पैदावार


सहारनपुर: गेहूं की कटाई के बाद किसान धान की बुवाई करने की तैयारी कर रहे हैं, लेकिन धान की बुवाई से पहले जमीन को धान के लिए तैयार करने की आवश्यकता होती है. अगर जमीन में उर्वरकों की कमी होगी तो आपकी धान की फसल आपको अच्छा उत्पादन नहीं मिलेगा. इसलिए जरूरी है धान की बुवाई से पहले अपनी जमीन को सभी तत्वों से परिपूर्ण कर लिया जाए. गेंहू की कटाई के बाद किसान का खेत डेढ़ 2 महीने के लिए खाली हो जाता है.

इस समय किसान अपनी भूमि को उर्वरक तत्वों से भरने के लिए उसमें सनई, ढैंचा, मूंग और उड़द की खेती कर 40 से 45 दिन में उसकी कटाई कर उसको खेत में ही मिला दें, तो धान की फसल बंपर उत्पादन देगी. साथ ही हरी खाद में ट्राइकोडर्मा, गुड़, बेसन ब्यूवेरिया बेसियाना का घोल बनाकर अच्छे से मिलकर के तीन दिन रखने के बाद इसको भी पानी के माध्यम से खेत में डलवा दे तो खेत की मिट्टी में पनप रही बीमारियां और कीड़े मकोड़े खत्म हो जाते हैं. इसके बाद किसान अपनी धान की रोपाई और बुवाई करता है तो उत्पादन काफी अच्छा होता है.

हरी घास का करें जमीन में इस्तेमाल

कृषि विज्ञान केंद्र के प्रभारी व प्रोफेसर डॉक्टर आई.के कुशवाहा ने लोकल 18 से बताया कि सबसे पहले किसी भी फसल को पैदा करने के लिए भूमि की उर्वरा का शक्ति अच्छी होनी चाहिए. भूमि को शक्तिशाली बनाने के लिए सबसे अच्छा जैविक खाद है. इसके बाद धान की फसल काफी अच्छी होती है. जिन किसानों ने गेहूं की फसल लगाई थी और उनको धान की फसल की रोपाई करनी है तो धान की फसल के लिए जो बीच की अवधि दो महीने का समय होता है. जैसे ही आपकी गेहूं की फसल खत्म होती है उसके बाद किसान हरी खाद के रूप में सनई, ढैंचा, उड़द, मूंग इनका हरी खाद के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है.

45 दिनों में फसल हो जाती है तैयार

जैसे ही फसल 40 से 45 दिन की होती है तो इस फसल को खेत में ही काट करके अच्छे से मिला देते हैं तो यह लगाई जाने वाली धान की फसल में पोषक तत्वों का काम करती है. 1 एकड़ खेत में किसान भाई हरी घास को खेत में मिलने से एक हफ्ता पूर्व 100 लीटर के ड्रम में 2 किलोग्राम ट्राइकोडर्मा, 1 किलो गुड़, आधा किलो बेसन को डाल करके अच्छे से मिला करके तीन दिन रखने के बाद खेत में सिंचाई के पानी के साथ खेत में डलवा दें.

खेत की गुणवत्ता बढ़ाने के लिए करें ये उपाय

इसके चार दिन बाद 100 लीटर पानी में ब्यूवेरिया बेसियाना, एक किलो गुड़, आधा किलो बेसन अच्छे से मिलकर के तीन दिन रखने के बाद इसको भी पानी के माध्यम से खेत में डलवा दें. खेत में डाले गए ट्राइकोडर्मा और ब्यूवेरिया बेसियाना दोनों मल्टीप्लाई होंगे, जैविक कार्बन मिट्टी में बढ़ जाता है, मिट्टी में पोषक तत्व बढ़ जाते हैं. धान लगाने से पहले खेत में जितने भी कीड़े, मकोड़े, बीमारी होगी. सब खत्म हो जाएगी और फसल की गुणवत्ता भी बढ़ेगी.



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