मध्य प्रदेश ट्रेन से जाने वालों को तोहफा, कार-बस का सफर जाओगे भूल

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मध्य प्रदेश और दक्षिण भारत ट्रेन से जाने वालों के लिए अच्छी खबर है. ट्रेनों की स्पीड कम नहीं होगी, बल्कि स्पीड पहले की तुलना में अधिक होगी.
सांकेतिक फोटो
झांसी. मध्य प्रदेश और दक्षिण भारत ट्रेन से जाने वालों के लिए अच्छी खबर है. उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश बॉर्डर पर ट्रेनों की स्पीड कम नहीं होगी, बल्कि स्पीड पहले की तुलना में अधिक होगी. इतना ही नहीं ट्रेनों की स्पीड बढ़ने की वजह ट्रैक खाली होगा, इस वजह से ट्रेनों की संख्या और बढ़ाई जा सकेगी. साथ ही ट्रेनों की पंच्यूअलिटी में सुधार होगा.
कुलपहाड़-महोबा खंड (21.582 किमी, डाउन लाइन): इस खंड में भी नई डाउन लाइन पर गति 75 किमी/घंटा से बढ़ाकर 110 किमी/घंटा की गई है. इससे लंबी दूरी की ट्रेनें समय पर चलेंगी. बेलाताल-कुलपहाड़ खंड (8.825 किमी, डाउन लाइन) में इस छोटे खंड में गति 70 किमी/घंटा से बढ़ाकर 85 किमी/घंटा की गई है.
नई लाइनों से ट्रेनों की स्पीड बढ़ेगी, जिससे यात्रियों को समय पर अपने गंतव्य तक पहुंचने में मदद मिलेगी. मालगाड़ियों की रफ्तार बढ़ने से सामान ढुलाई में समय और लागत कम होगी. इस पहल से रेल सेवा और बेहतर होगी. साथ ही, रेलवे नेटवर्क को आधुनिक और मजबूत करेंगी.
डीआरएम दीपक कुमार सिन्हा के अनुसार इन कार्यों से रेलवे की सेवा में सुधार हुआ है. ट्रेनें अब ज्यादा सुरक्षित और समय पर चल रही हैं. यह रेलवे के लिए एक बड़ा कदम है, जो यात्रियों और माल परिवहन दोनों के लिए फायदेमंद है. नई लाइनों से यात्रियों को तेज और सुरक्षित यात्रा होगी. यह रेलवे के विकास और यात्रियों की सुविधा के लिए एक बड़ी उपलब्धि है.