रिश्तेदारों के खाते, नीतू का बैंक अकाउंट, अधिकारी ऐसे लेते थे छांगुर से घूस

जांच में सामने आया है कि छांगुर ने साजिश को छिपाने के लिए रकम को सीधे किसी सरकारी अधिकारी या कर्मचारी के खाते में नहीं भेजा. इसके बजाय, उसने सरकारी कर्मचारियों और अधिकारियों के पिता, पत्नी, भाई और यहां तक कि ससुराल पक्ष के लोगों के बैंक खातों में लाखों रुपये ट्रांसफर किए. इस रणनीति से उसने अपनी गैरकानूनी गतिविधियों को छिपाने की कोशिश की.
12 संदिग्ध खातों की पहचान
खातों को किया गया फ्रीज
जांच एजेंसियों ने त्वरित कार्रवाई करते हुए इन सभी 12 संदिग्ध बैंक खातों को फ्रीज कर दिया है. साथ ही, इन खातों से जुड़े लोगों की गहन जांच शुरू कर दी गई है. पुलिस और अन्य जांच एजेंसियां यह पता लगाने में जुटी हैं कि इन खातों में भेजी गई रकम का स्रोत क्या था और इसका उपयोग किन गैरकानूनी गतिविधियों के लिए किया जा रहा था.
बलरामपुर में हड़कंप
पुलिस का बयान
लखनऊ पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, “यह एक मनी लॉन्ड्रिंग का मामला है, जिसमें सरकारी तंत्र के कुछ लोगों की संलिप्तता सामने आई है. हम सभी संदिग्ध खातों की गहन जांच कर रहे हैं और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.” अधिकारी ने यह भी कहा कि इस मामले में और भी खुलासे होने की संभावना है.
आगे की कार्रवाई
जांच एजेंसियां अब छांगुर और नीतू उर्फ नसरीन के अन्य सहयोगियों की तलाश में छापेमारी कर रही हैं. साथ ही, यह भी जांच की जा रही है कि इस रकम का उपयोग किन-किन आपराधिक गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए किया गया. प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) को भी इस मामले में शामिल किया जा सकता है, ताकि मनी लॉन्ड्रिंग के इस बड़े नेटवर्क का पूरी तरह से पर्दाफाश हो सके.